दोस्तों आप लोगो को तो पता ही है एक डायरेक्टर है sujoy ghosh और उनकी एक फ़िल्म आयी थी जिसका नाम था कहानी.और इस फ़िल्म मे एक्ट्रेस थी विद्या बालन.यह फ़िल्म सुपर हिट रही थी.इसी फ़िल्म मे एक केरेक्टर था bob biswas जो insurance एजेंट था. तो बस इस फ़िल्म मे उसी bob biswas की कहानी को बड़ा कर दिया है.यानि इस फ़िल्म मे उस केरेक्टर को बढ़ा दिया गया है.और उसी एक कहानी पर पूरी फ़िल्म बना दी गई है.
तो ज़ाहिर सी बात है की कहानी बहुत ही छोटी है.लेकिन इस कहानी को बड़ा करने के लिए एक ड्रग एंगल डाल दिया गया है.कलकत्ता मे ड्रग्स बेचीं जाती है इसको कॉलेज मे पढ़ने वाले बच्चे खरीदते है और बर्बाद हो रहे है.और bob biswas ऐसे ख़तरनाक लोगो का मर्डर करता जा रहा है.लेकिन इसमें कमाल यह है की यह ड्रग्स का धंधा पुलिस का ही बड़ा ऑफिसर चला रहा है.और उसी के कहने पर bob biswas गुंडों का सफाया कर रहा है, जिसमे वह अच्छे और बुरे लोगो का मर्डर कर रहा है.इस फ़िल्म का स्क्रीनप्ले इतना बढ़िया नहीं है जितना कहानी फ़िल्म का था.कहानी का स्क्रीनपले बहुत ही बढ़िया था.
Bob biswas के स्क्रीनपले को आप ठीकठाक कह सकते है.फ़िल्म के dialogues बढ़िया है और सही टाइम पर सही अल्फाज़ बोले जाते है.फ़िल्म मे म्यूजिक नहीं है और हमें लगता है इसकी जरुरत भी नहीं थी.इसके एक्शन मे सिर्फ गोलिया ही गोलिया चलती है.climax मे आकर एक छोटा सा एक्शन है.और वह देखने लायक है.यहाँ हम आपको यह बताना चाहते है की किसी फिल्ममेकर की फ़िल्म हिट हो जाती है, तो उसका दिमाग़ वही पर उलझकर रह जाता है.उसको लगता है की वह बारबार वैसी ही फ़िल्म बनाएगा तो वह सुपरहिट हो जाएगी.लेकिन वास्तव मे यह पॉसिबल नहीं है. जो इस फ़िल्म के डाइरेक्टर है उन्होंने कहानी के बाद एक और फ़िल्म बनाई थी जिसका नाम है TE3न. यह एक फ्लॉप फ़िल्म थी.उसके बाद उन्होंने एक बदला फ़िल्म बनाई जो फॉरेन फ़िल्म की जैसी ही थी.हमारा कहने का मतलब यह है की वह कहानी के बाद से थ्रीलर फ़िल्म ही बना रहे है और यह bob biswas भी थ्रीलर फ़िल्म ही है.
इस फ़िल्म का डायरेक्शन किया है sujoy की बेटी diya ghosh ने और उनका डाइरेक्शन अच्छा है. यह diya की पहली फ़िल्म है.diya ने अपने एक्टर से भी अच्छा काम करवाया और diya ने भी इस फ़िल्म मे बहुत अच्छा काम किया है.क्योंकि कहानी diya के father ने लिखी है तो जो कहानी diya के पास थी उस कहानी पर इससे अच्छी फ़िल्म बन नहीं सकती थी.या इससे अच्छा डाइरेक्शन हो नहीं सकता था.
अगर हम एक्टिंग की बात करें तो फ़िल्म मे जितने भी एक्टर्स है सबने अच्छी एक्टिंग की है.abhishek bacchan ने अपने रोल को बहुत अच्छे से निभाया है.जितना उनको करने के लिए कहा गया है उतना उन्होंने बहुत अच्छे तरीके से किया है.abhishek bacchan अपने गेटप से ही insurance एजेंट लगता है.chitrangda ने abhishek bacchan की वाइफ का रोल किया है.और chitrangda ने भी अपने रोल को बहुत अच्छी तरह से निभाया है.
अब आप के मन मे यह सवाल आता होगा की यह फ़िल्म bob biswas जिसमे हम review कर रहे है तो यह फ़िल्म bob biswas movie कैसी है? क्या Bob biswas movie को परिवार के साथ बैठकर देखना चाइये? तो दोस्तों यह फ़िल्म एक ऐसी फ़िल्म है जो पहले सीन से लेकर आख़री सीन तक बिलकुल एक स्केल की तरह एक दम सीधी चलती है.फ़िल्म मे ना कोई चढाव है और नहीं कोई उत्तार है.यानि कही भी फ़िल्म मे आप इमोशनल नहीं होते हो! फ़िल्म मे कही भी आप exited नहीं हो पाएंगे.पूरी फ़िल्म मे आपको कही भी ऐसा नहीं लगेगा की कुछ कमाल होने वाला है! जैसे कहाँ जाता है की कॉमेडी वाली फ़िल्म को देखने के लिए दिमाग़ को घर पर रखकर जाना चाहिए.इस फ़िल्म को आप देख सकते है.